1 जनवरी 2020 से अब OTP डालने के बाद ही निकलेगा ATM से पैसा |
1 जनवरी 2020 से अब OTP डालने के बाद ही निकलेगा ATM से पैसा
from 1st january onwards otp based cash withdrawal from ATM 1 जनवरी 2020 से अब OTP डालने के बाद ही निकलेगा ATM से पैसा
भोपाल। आने वाले साल में कई चीजें जहां बदलने वाली हैं वहीं एटीएम से पैसे निकालने को लेकर भी स्टेट बैंक ऑफ इंडिया ने ट्वीट किया है। जिसके तहत एटीएम से कैश निकालने के तरीके में बदलाव किया जा रहा है। एटीएम से होने वाले फ्रॉड को रोकने के लिए स्टेट बैंक ऑफ इंडिया ने एक जनवरी से रात में एटीएम से पैसों की निकासी पर ओटीपी अनिवार्य करने जा रहा है। यदि आप एसबीआई के डेबिट कार्ड से उनके ही एटीएम से रात आठ बजे से सुबह आठ बजे तक पैसा निकालते हैं तो आपके रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर एक ओटीपी आएगा। इस ओटीपी को डालने के बाद भी एटीएम से पैसे निकलेंगे।

State Bank of India
✔@TheOfficialSBI
Introducing the OTP-based cash withdrawal system to help protect you from unauthorized transactions at ATMs. This new safeguard system will be applicable from 1st Jan, 2020 across all SBI ATMs. To know more
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जानिए कैसे काम करेगा ये सिस्टम
बैंक द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक, 'फ्रॉड ट्रांजेक्शन को रोकने के लिए 8 बजे शाम से 8 बजे सुबह तक 10 हजार रुपये या ज्यादा के कैश विड्रॉल पर ओटीपी जारी किया जाएगा।' ये ओटीपी ग्राहक के रजिस्टर मोबाइल नंबर पर जाएगा। बैंक ने साफ किया है कि ये सुरक्षा की नजर से जोड़ा गया एक अन्य कदम है, इससे कैश ट्रांजेक्शन की प्रक्रिया में कोई बदलाव नहीं होगा।

जब आप रात के समय एसबीआई के एटीएम जाएंगे तब कार्ड स्वाइप के बाद बैंक में रजिस्टर्ड आपके मोबाइल नंबर पर एक वन टाइम पासवर्ड (ओटीपी) भेजा जाएगा। जो आपको एंटर करना होगा। बता दें कि ये प्रक्रिया किसी और बैंक के एटीएम पर काम नहीं करेगी क्योंकि फिलहाल नेशनल फाइनेंशियल स्विच में इसे तैयार नहीं किया गया है। बैंक का कहना है कि इससे फर्जी कार्ड्स से होने वाले अवैध ट्रांजैक्शन्स को रोका जा सकेगा।

कम होंगे बैंकिंग फ्रॉड
SBI के नए नियम के मुताबिक 10,000 रुपए से अधिक की निकासी पर ये नियम लागू होगा। ओटीपी तभी आएगा जब आप एसबीआई के एटीएम से ही कैश निकाली करेंगे। किसी दूसरे बैंक के एटीएम से कैश निकालने पर ओटीपी की जरूरत नहीं होगी। आरबीआई के मुताबिक डिजिटल लेनदेन के चलते साल 2018-19 में 71,543 करोड़ रुपए का बैंकिंग फ्रॉड हुआ है। बैंक फ्रॉड के 6800 से अधिक मामले सामने आए। साथ ही 2017-18 में बैंक फ्रॉड के 5916 मामले सामने आए थे। इन मामलों को रोकने के लिए ही बैंक ने ये फैसला लिया है।